Browse:
824 Views 2018-03-06 07:13:56

इन रत्‍‌नों की किरणों से दूर करें ग्रहों के कुप्रभाव

ग्रहों के बुरे प्रभाव को कम करने के लिए या फिर उन्हें मजबूती प्रदान करने के लिए ज्योतिष शास्त्र द्वारा विभिन्न प्रकार के रत्न प्रदान किए गए हैं। यह रत्न हमारे जीवन को सुधारने में सहायक सिद्ध होते हैं। प्रत्येक ग्रह एक निश्चित रत्न के साथ जुड़ा हुआ है। जैसे राशि के स्वामी ग्रह होते हैं वैसे ही प्रत्येक ग्रह के कुछ रत्न भी हैं जिन्हें पहनने या कहें धारण करने से उक्त ग्रह को बल मिलता है। दरअसल ये रत्न धारण करते ही जातक की नकारात्मक ऊर्जा सकारात्मक होने लगती है और हालातों में सुधार होने लगता है। कुछ चमत्कारी रत्नों के बारे में तो आइये जानते हैं।

जामुनिया रत्न

भारतीय ज्योतिष विज्ञान के अनुसार जामुनिया शनि से संबंधित है और शनि के रत्न नीलम के उपरत्न के रुप में इस्तेमाल किया जाता है। इसे धारण करने से शनि के दोषों और गलत प्रभावों से छुटकारा मिलता है व पहनने वाले को धन, सम्मान और अच्छी सेहत मिलती है।

लाजवर्त रत्न

लाजवर्त को धारण करने के बाद व्यक्ति पर राहु, शनि और केतु का दुष्प्रभाव खत्म हो जाता है। लाजवर्त तीनों उग्र ग्रह (शनि, राहु और केतु ) के दोषों और दुष्प्रभावों को खत्म करता है। यदि आपको शनि की साढ़ेसाती चल रही है तो आप लाजवर्त धारण कर सकते है और लाभ प्राप्त कर सकते हैं।

ओपल रत्न

ओपल रत्न के कई लाभ हैं। यह सभी रत्नों में से सबसे रंगीन है और इंद्रधनुषी रंगों का रंग सभी रत्नों से इसे और अधिक सुंदर बनाता है। ओपल वफादारी, सच्चाई और सहजता लाता है यह चंचल दिमाग को भी हटा देता है।

फ़िरोज़ा रत्न

जिनकी कुंडली में राहु या केतु का कोई भी दोष हो, उस दोष को शांत करने का रामबाण उपाय है फिरोजा रत्न। गुरू के अच्छेड प्रभाव जैसे बेहतर स्वाीस्य्मा , सामाजिक सम्मा न का बढ़ना, सफलता, आराम और जीवन में सफलता प्राप्तम होती है। पढ़ने-लिखने के क्षेत्र से संबंधित लोग और वकीलों के लिए यह रत्नो अच्छे फल देने वाला माना जाता है। रत्‍‌नों की किरणों से ग्रहों के कुप्रभाव को दूर किया जा सकेगा। तो आप भी इन रत्नों को धारण कर इसका लाभ उठाएं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

*